अल्लाह तआला क़यामत के दिन कहेगाः मेरे प्रताप के कारण एक-दूसरे से प्रेम करने वाले कहाँ हैं? आज मैं उन्हें अपनी छाया…

अल्लाह तआला क़यामत के दिन कहेगाः मेरे प्रताप के कारण एक-दूसरे से प्रेम करने वाले कहाँ हैं? आज मैं उन्हें अपनी छाया में जगह दूँगा, जबकि मेरी छाया के अतिरिक्त कोई छाया नहीं है।

अबू हुरैरा (रज़ियल्लाहु अंहु) का वर्णन है कि नबी (सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम) ने फ़रमायाः "अल्लाह तआला क़यामत के दिन कहेगाः मेरे प्रताप के कारण एक-दूसरे से प्रेम करने वाले कहाँ हैं? आज मैं उन्हें अपनी छाया में जगह दूँगा, जबकि मेरी छाया के अतिरिक्त कोई छाया नहीं है।"

[सह़ीह़] [इसे मुस्लिम ने रिवायत किया है।]

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आख़िरत (परलोक) का जीवन, सरहनायोग्य आचरण