जो सूरा कहफ़ की आरंभिक दस आयतें याद करेगा, दज्जाल से सुरक्षित रहेगा

जो सूरा कहफ़ की आरंभिक दस आयतें याद करेगा, दज्जाल से सुरक्षित रहेगा

अबु दरदा (रज़ियल्लाहु अनहु) से वर्णित है कि अल्लाह के नबी (सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम) ने फ़रमायाः जो सूरा कहफ़ की आरंभ की दस आयतें याद करेगा, दज्जाल से सुरक्षित रहेगा। एक रिवायत में हैः सूरा कहफ़ की अंतिम आयतें।

[सह़ीह़] [इसे मुस्लिम ने रिवायत किया है।]

الشرح

जिसने सूरा कह्फ़ के आरंभ या अंत की, जैसा कि दो अलग-अलग रिवायतों में उल्लिखित है, दस आयतें याद कर लीं, अल्लाह उसे दज्जाल की बुराई और उसके फ़ितने से सुरक्षित रखेगा। अतः दज्जाल न उसपर हावी हो सकेगा और न उसकी हानि कर सकेगा।

التصنيفات

सूरों एवं आयतों की फ़ज़ीलतें, क़यामत की निशानयाँ